लखनऊ भाषा विश्वविद्यालय में तिरंगे को लेकर बवाल विरोध करने पर छात्र की पिटाई

लखनऊ। ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती भाषा विश्वविद्यालय में शनिवार को हिंदू-मुस्लिम छात्र गुटों के बीच हुआ विवाद मारपीट में बदल गया। समाजवादी छात्र सभा से जुड़े छात्र आदित्य सिंह का आरोप है कि उसने हॉस्टल परिसर में लगे तिरंगे को फाड़ते हुए देखा और विरोध किया, जिसके बाद एक मुस्लिम छात्र गुट ने उसे घेरकर जमकर पीटा। मारपीट में घायल आदित्य सिंह ने विश्वविद्यालय प्रशासन को लिखित शिकायत दी है।
ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती भाषा विश्वविद्यालय में शनिवार की सुबह एक मामूली-सा विरोध अचानक बड़े विवाद में बदल गया। हॉस्टल परिसर में लगे तिरंगे को फाड़ते देख समाजवादी छात्र सभा से जुड़े छात्र आदित्य सिंह ने जब आपत्ति दर्ज कराई, तो बात इतनी बढ़ गई कि दूसरे छात्र गुट ने उसकी पिटाई कर दी। तिरंगे को लेकर शुरू हुआ विवाद कुछ ही मिनटों में मारपीट तक पहुंच गया और छात्रों की भीड़ इकट्ठा हो गई। आदित्य घायल हुआ और मामले की शिकायत लेकर प्रशासन के पास पहुंचा। उसने कहा कि उसने सिर्फ तिरंगे का सम्मान करने की बात कही थी, लेकिन उसी बात को लेकर उसे निशाना बनाया गया। विश्वविद्यालय प्रशासन अब मामले की जांच में जुटा है। प्रशासन का कहना है कि तिरंगे का अपमान हो या झगड़ा—दोनों ही बर्दाश्त नहीं किए जाएंगे। कैंपस में अतिरिक्त सुरक्षा लगाई गई है और छात्रों को किसी तरह की अफवाह से दूर रहने की अपील की गई है। घटना के बाद विश्वविद्यालय में एक अजीब-सा माहौल है—कहीं चुप्पी, तो कहीं नाराजगी। छात्र संगठन इसे ‘गंभीर लापरवाही’ बता रहे हैं और मांग कर रहे हैं कि तिरंगा फाड़ने वालों और मारपीट करने वालों पर बिना देर कार्रवाई हो। फिलहाल कैंपस में पढ़ाई से ज्यादा चर्चा इस बात की है कि तिरंगे को लेकर शुरू हुआ विवाद आखिर कैसे विश्वविद्यालय की शांति पर भारी पड़ गया।




